बुधवार, 7 दिसंबर 2016

डीआरडीओ के वैज्ञानिकों ने बनाया देश का सबसे बड़ा ड्रोन रुस्तम-2

रुस्तम-2
रुस्तम-2 का परीक्षण बेंगुलुरु से करीब 250 किलोमीटर दूर चित्रदुर्ग में एयरोनौटिकल टेस्ट रेंज से किया गया, जो मानवरहित यानों और मानव विमानों के परीक्षण के लिए नव विकसित उड़ान परीक्षण स्थल है | रुस्तम-2 का डिजाईन और विकास डीआरडीओ की बेंग्लुरु प्रयोगशाला ऐयरोनौटिकल डेवलपमेंट एस्टेब्लिश्मेंट और एचएएल-बीईएल ने मिल कर किया है | यह मानव रहित विमान कम व मध्यम ऊंचाई पर लम्बी अवधि तक उड़ान भरने में सक्षम है | इसकी विशेषता है कि यह लगातार 24 घंटे तक उड़ान भर सकता है और देश के सशस्त्र बलों के लिए टोही मिशन पर जा सकता है तथा कम ऊंचाई पर उड़कर भी दुश्मन पर निशाना लगा सकता है | रुस्तम-2 का वजन दो टन है | इस मानव रहित यान को अमेरिका के प्रिडेटर ड्रोन की तरह लड़ाकू यान के तौर पर उपयोग में लाया जा सकता है | भारतीय वैज्ञानिक रुस्तम दमानिया के नाम पर इसका नाम रखा गया है |

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